धूप में बैठकर गुड़ के साथ पिएं छाछ, जोड़ों का दर्द है तो न करें सेवन
खाने के बाद छाछ पीने से खाना अच्छी तरह पचता है। छाछ कई पोषक तत्वों से भरपूर होती है। इस पेय पदार्थ की तासीर ठंडी होती है। गर्मियों के मौसम में यह बेहद फायदेमंद है लेकिन बदलते मौसम में अगर कुछ बातों का ख्याल रख कर छाछ का सेवन किया जाए तो इसके पूरे फायदे मिल सकते हैं। आयुर्वेदाचार्य अमित सेन बता रहे हैं कि करवट बदलते मौसम में छाछ पीने का सही तरीका।
गुड़ संग छाछ की बदल जाती है तासीर, शुगर है तो तड़का छाछ पिएं
गर्मियों में लोग छाछ में नमक डालकर पीते हैं लेकिन सर्दियों में छाछ के साथ छोटी सी गुड़ की डली खाएं। दरअसल, गुड़ की प्रकृति गर्म होती है। जब ठंडी तासीर वाली छाछ के साथ गुड़ का सेवन किया जाता है तो ठंडी और गर्मी का बैलेंस हो जाता है और सर्दी, जुकाम की समस्या नहीं होती है। लेकिन अगर डायबिटीज की प्रॉब्लम है तो छाछ के साथ गुड़ न लें, बल्कि इसकी जगह छाछ में काला नमक, भुना जीरा पाउडर और अजवाइन का तड़का लगा कर पिएं।
जोड़ों का दर्द रहता है तो छाछ से करें परहेज
रात में छाछ पीना चाहते हैं तो सरसों का तेल गर्म कर इसमें साबुत मिर्च, राई और जीरे का तड़का बनाएं और छाछ में तड़का लगाएं। लेकिन जोड़ों में दर्द रहता है या हड्डियों में दर्द रहता है तो किसी भी तरह से छाछ पीने से बचें।